अल्मोड़ा- आज रानीधारा सड़क पुनर्निर्माण संघर्ष समिति का 24 वे दिन भी धरना जारी रहा।धरने में भारी सँख्या में महिलाओं सहित वरिष्ठ नागरिकों ने हिस्सा लेकर दो सूत्रीय मांगों सहित जिला प्रशासन से अस्थाई रूप से बरसात के पानी की उचित निकासी व सीवर लाइन की एस आई टी जांच के बिना कनेक्शन देने से इनकार किया।आज धरने के 24 वे दिन बड़ी तादात में रानीधारा सहित अल्मोड़ा के विभिन्न वार्डो से बडी संख्या में लोगो ने धरने के समर्थन दिया।कार्यक्रम का संचालन एड सुनीता पाण्डे ने किया।लोगो ने सीवर लाइन की गुणवत्ता पर सवाल उठाते हुए कहा कि सीवर लाइन में वो कंनक्शन नही लेंगे क्योंकि सीवर लाइन शुरू होने से पूर्व ही सीवर लाइन के कारण उनके घरों में सीवर लाइन बनने से लीकेज होकर पानी आ रहा है जिससे घरों की दीवार कमजोर हो चुकी है।बारिश में बहुत अधिक मात्रा में उनके घरों में पानी आने लगा है जो बड़े खतरे को दावत दे रहा है।बारिश में लोग डर के साये में जीने को मजबूर हो गए है।शासन-प्रशासन से लगातार गुहार लगाई जा रही है कि लोगो को सुरक्षा प्रदान की जाए।धरने में उपस्थित वरिष्ठ नागरिक अरुण पंत ने अपने विचार रखते हुए कहा कि चूंकि इस मार्ग में वहनों की गति स्वाभाविक रूप से कम होती है गुरुत्व का केंद्र भी मार्ग के मोड़ो में ढलान को नालों की ओर करने के लिए उपयुक्त है इसलिए मार्ग के निर्माण में आवश्यक रूप से नालों की ओर होना चाहिए ताकि लोगो के घरों में बरसात का पानी न जाए।अन्य वक्ताओं अर्चना पंत,मुकुल पंत,टीटू पंत,नीमा पंत,सुमित नज्जोन,दीप्ति गुप्ता आदि ने सीवर लाइन की गुणवत्ता पर सवाल उठाते हुए कहा कि इस क्षेत्र में सीवर लाइन बननी ही नही चाहिए थी।धरना स्थल पर मौजूद सभी लोगो ने सीवर लाइन का एक स्वर में विरोध किया साथ ही वक्ताओं ने कहा कि सीवर लाइन के नीचे 8 इंच की मटेला से आने वाली पेयजल लाइन मौजूद है।सीवर लाइन के चोक होने व सीवर लाइन निर्माण के समय जे सी बी मशीनों ने नगर पालिका की सुरक्षा दीवारों को कमजोर कर दिया है जिससे लोगो के मकानों में पानी रिस कर जा रहा है।मकान कभी भी टूट सकते है।साथ ही पूरे अल्मोड़ा के लिए जाने वाली 8 इंच की पेयजल लाइन दूषित होने की पूरी संभावना है जो पूरे नगर के लिए बड़ी आपदा को दावत दे रही है।समिति के अध्यक्ष दीप चंद्र पाण्डे ने अपने विचार रखते हुए कहा कि समय रहते अगर हम नही चेते तो पूरा इलाका आपदा की जद में आ सकता है।धरने के सयोंजक विनय किरौला ने कहा कि संगठित प्रयास से ही हम अपनी शर्ते शासन-प्रशासन से मना सकते है।साथ ही उन्होंने राजनीतिक दलों सहित व्यापार-मंडल व अन्य संगठनों व अल्मोड़ा की संभ्रात जनता से इस धरने-आंदोलन को सहयोग देने की अपील की।आज के धरने में धरने के सयोंजक विनय किरौला,समिति के अध्यक्ष दीप चंद्र पाण्डे, महिला अध्यक्ष कमला दरम्वाल, उपाध्यक्ष एड सुनीता पाण्डे,महासचिव मीनू पंत,सचिव नीमा पंत,संरक्षक शम्भू दत्त बिष्ट,कोषाध्यक्ष सुमित नज्जौन सहित हरीश कुमार वर्मा,चंद्रा नेगी,मोहित गुप्ता,हंसी रावत,कमला बिष्ट,माया कांडपाल,मीश पंत,पुष्पा तिवारी,सुधा उप्रेती,मीनू जोशी,डिम्पल जोशी,कमला किरौला,नीलाक्षी पंत,भुवन पाण्डे,रवि गोयल,नरेंद्र नेगी,रमेश जोशी,डॉ अनुपम पंत,हेमा जोशी,रेखा मेर,चेनता बिष्ट,भगवती जोशी,चंद्रा,कुमकुम जोशी,दुर्गा,व्रन्दा जोशी,मुकुल पंत,लावण्या पंत,अरुण कुमार पंत,दीपू पाण्डे,चेतना पंत,उमा अलमिया, भगवती डोगरा,कल्पना जोशी,दीप्ति गुप्ता,नीरू अग्रवाल, तनुजा पंत,ज्योति पाण्डे,बी एम पंत,गीता पंत,नीमा मिश्रा, रीता पंत,भुवन चंद्र कांडपाल,पुष्कर सिंह रावत,हरिश्चंद्र जोशी,मनीषा पंत, गीता पाण्डे, ममता बिष्ट,किरण भाकुनी आदि सैकड़ो लोग उपस्थित थे।